मसूरी-देहरादून विकास प्राधिकरण ने देहरादून मास्टरप्लान-2041 में ग्राम पंचायत अंबीवाला को चाय बागान क्षेत्र घोषित कर दिया।
मसूरी-देहरादून विकास प्राधिकरण ने देहरादून मास्टरप्लान-2041 में ग्राम पंचायत अंबीवाला को चाय बागान क्षेत्र घोषित कर दिया।
(नया निर्माण अवैध,पुराने निर्माणों से कोई छेड़छाड़ नहीं)
उत्तराखंड (देहरादून) मंगलवार, 18 अप्रैल 2023
मसूरी-देहरादून विकास प्राधिकरण ने देहरादून मास्टरप्लान-2041 में ग्राम पंचायत अंबीवाला को चाय बागान क्षेत्र घोषित कर दिया गया है।मास्टरप्लान-2041 में ग्राम पंचायत अंबीवाला को पूरी तरह से चाय बागान क्षेत्र घोषित कर दिया गया है। यहां अब कोई भी नया निर्माण अवैध माना जाएगा।
पुराने निर्माणों से कोई छेड़छाड़ नहीं की जाएगी। चाय बागान से सटा अंबीवाला क्षेत्र राजस्व ग्राम है। यहां पहले खेती होती थी।लिहाजा राजस्व अभिलेखों में यह क्षेत्र कृषि क्षेत्र में दर्ज है। वर्तमान में इस पंचायत में 25 फीसदी ही खेती रह गई है और यह पूरी तरह से आबादी क्षेत्र बन गया है। करीब पांच हजार की आबादी यहां रहती है। घरेलू के साथ ही बड़ी संख्या में व्यावसायिक गतिविधियां भी यहां संचालित होती हैं।
अंबीवाला चाय बागान क्षेत्र घोषित होने से यहां के निवासियों में खलबली मची है।उनका कहना है कि, ग्राम पंचायत अंबीवाला आबादी वाला क्षेत्र है। यहां करीब पांच हजार की आबादी के साथ ही स्कूल-कॉलेज और कई व्यावसायिक संस्थान मौजूद है।
यह क्षेेत्र चाय बागान से अलग भी है। ऐसे में इसे चाय बागान क्षेत्र घोषित करना समझ से परे है। क्षेत्र पंचायत सदस्य अंबीवाला एवं पूर्व प्रधान मंजू नेगी ने कहा कि, मास्टरप्लान जारी करने से पहले लोगों की राय भी नहीं ली गई।